फिर उन दोनों के जिस्म एक दूसरे से लिपटने लगे, ओह्ह मधु, मेरी जान तू कितनी हसीन है, तेरा हुस्न कितना दिलकश है। मैंने आज तक ऐसी चूची नहीं देखी, मुझे अपनी चूची चूस लेने दो, मुझे निप्पल चूस लेने दो मेरी मधु। फिर मोहित अपनी बीवी की निप्पल को चूसने लगा था और मधु ने अपनी आँखें बंद कर रखी थी और मज़े से कह रही थी, हह्ह्ह्हह मेरे मालिक, चूस ले मेरी चूची को आज तेरी बीवी हर काम के लिए हाज़िर है, मेरा जिस्म तेरा है, तू ही मेरा मालिक है, ज़ोर से चूस मेरी चूची को, मेरी जांघों में मेरी चूत जल रही है, मेरी चूत अपना रस छोड़ने लगी है, मेरे निप्पल चूस लो मेरे मालिक। फिर मोहित का हाथ मधु की जांघों के बीच होकर चूत पर चलने लगा और मोहित के हाथ ने एक हल्की सी थप्पड़ उसकी गर्म चूत पर लगा दी और मधु के मुँह से हल्की सी सिसकी निकल गयी, ऑश मोहित बहुत मज़ा आ रहा है और ज़ोर से हाथ मारो मेरी चूत पर, मुझे मज़ा आ रहा है, अब मुझसे रहा नहीं जा रहा, मोहित अब मुझे चोद डालो।
फिर मोहित ने अपनी बीवी की चूची पर तमाचा मारा और अपनी एक उंगली उसकी चूत में डाल दी, मधु की चूत तो पहले से ही रस से भीगी हुई थी। फिर मधु ने अपनी टाँगें चौड़ी कर ली और मोहित आराम से उंगली के साथ अपनी बीवी को चोदने लगा। अब दो नंगे जिस्म पलंग पर मचल रहे थे। मोहित अब धीरे-धीरे अपना मुँह अपनी बीवी की चूत की तरफ बढ़ाने लगा तो वो उसके मुँह से अपनी बीवी की नमकीन चूत के रस को चाटने के लिए लार टपका रहा था। मधु की गोरी जांघे और खुल गयी और मोहित का मुँह उसकी चूत में समा जाने की कोशिश करने लगा। उसकी जीभ चूत की दीवारों को चाटने लगी थी, अहह मोहित, मेरे मालिक, मेरी चूत झड़ रही है, मेरे रस को पी जाओ, मेरी चूत में पूरी तरह से अपनी जीभ पेल दो, आआहह में मरी जा रही हूँ।
फिर मोहित अपनी पत्नी के ऊपर लेटकर उसकी चूत को चाटने लगा और उसका लंड मधु के मुँह के सामने आ गया। अब मधु ने अपने पति के लंड पर हाथ फेरा और फिर उसकी लंबाई पर अपनी ज़ुबान फेरनी शुरू कर दी और फिर लंड के सुपाड़े को चूसना शुरू कर दिया। अब मोहित को ऐसा मज़ा आने लगा था कि जो आज तक नहीं आया था और वो अपनी कमर उछाल-उछाल कर अपनी पत्नी के मुँह को चोदने लगा। अब मोहित की ज़बान मधु के होल को चाटती हुई उसकी चूत की पूरी गहराई तक चली जाती और चूत के रस को चाट लेती, उसने अपनी मधु के चूतड़ जकड़ रखे थे और कभी-कभी उसकी ज़बान उसकी गांड को भी चाट लेती थी। उधर मधु अपने पति का पूरा लंड मुँह में लेकर चूसने लगी तो मोहित को लगा कि वो झड़ जायेगा और अब पूरे कमरे से पच-पच की सेक्सी आवाज़ें आ रही थी। पति और पत्नी वासना की आग में दहक रहे थे और दुनिया को भूलकर चुदाई के मज़े लेने में व्यस्त थे, अब मधु की गांड भी ऊपर नीचे हो रही थी।
फिर उसने मोहित के अंडो को हाथों में मसल दिया तो मोहित की सिसकारी निकल गयी और उसकी पिचकारी निकल गयी जो कि उसकी बीवी के मुँह में जा गिरी। मोहित के लंड का कुछ रस उसकी पत्नी के मुँह से निकलकर उसकी चूची पर जा गिरा, अब मोहित के चूतड़ तेज़ी से उछल रहे थे और वो मज़े से मधु की चूत का रस चूस रहा था, तभी मधु की चूत ने भी पानी छोड़ दिया जो मोहित पी गया। फिर वो दोनों कुछ देर में शांत हो गये। फिर कुछ देर तक वो दोनों नंगे पलंग पर एक दूसरे से लिपट कर लेटे रहे और अब वो दोनों शांत और संतुष्ट थे, लेकिन चुदाई का खेल अभी शुरू भी नहीं हुआ था। फिर मधु उठी और मोहित के लंड को फिर से चूसने लगी और बोली कि मोहित अब मुझे अपने लंड का असली मज़ा दो, में मेरी चूत चुदाई के लिए तड़प रही हूँ, आज से आप ही मेरे जिस्म के मालिक है और जैसे चाहो आप इसको चोदो। फिर मोहित लेटा रहा और मधु उस पर चढ़कर उसके लंड को अपनी चूत पर रगड़ने लगी।
फिर मोहित से जब रहा नहीं गया तो उसने अपना लंड ज़ोर से चूत में पेल दिया और चूत चिकनाई युक्त होने से लंड आसानी से अंदर चला गया। फिर मोहित ने अपने चूतड़ उछाले और उसका पूरा लंड उसकी बीवी की चूत में समा गया, ऊफफफफ्फ़ मोहित आपका लंड कितना बड़ा है, इसने तो मेरी चूत को हिलाकर रख दिया, मेरी जान ही निकल गयी मोहित, ये कहते हुए मधु अपनी गांड ऊपर नीचे करने लगी और मोहित भी जोश में आने लगा। फिर मधु के चूतड़ को मोहित ने कसकर पकड़ लिए और नीचे से धक्के मारने लगा। फिर मोहित मधु की चूचियों पर ज़ोर-ज़ोर से किस करने लगा तो मधु बड़बड़ाने लगी, चोदो मुझे मेरी जान और मेरी चूत का रस निकाल दो, अपने लंड से मेरी चूत की आग शांत कर दो, आपका लंड बहुत मस्त है और मुझे अपना बना लो। फिर मोहित ने एक उंगली मधु की गांड में घुसा दी और चूतड़ो पर हाथ फेरने लगा।
फिर वो अपने आप पर कंट्रोल खोने लगा था तो मधु बोली कि तुम अपना लंड बाहर निकाल दो। फिर मोहित ने अपना लंड बाहर निकाला और बोला कि अब हमें स्टाईल बदलनी चाहिए और तुम आगे की तरफ झुक जाओ, में तुझे एक कुत्तिया की तरह चोदना चाहता हूँ। फिर मधु बिना कुछ बोले कुत्तिया बनकर झुक गयी। फिर मोहित ने उसकी गांड पर हाथ फेरा और चूतड़ों के बीच से लंड चूत में पेल दिया तो मधु सिसकारी ले उठी, आअहह मोहित जी मुझे चोद डालो, बहुत मज़ा आ रहा है, मेरे राजा ऐसे ही मेरी चूची मसलो, आपका लंड बहुत मस्त है। मोहित अपनी बीवी के शब्द सुनकर और भी जोश में आ गया और ताबडतोड़ धक्के मारने लगा और मधु की चूत के रस से भीगा लंड आसानी से उसकी चूत में जाने लगा था और मधु वासना के नशे में अपनी गांड पीछे धकेलने लगी थी। अब चुदाई की पच-पच की आवाज़ें पास वाले शीतल के रूम में भी सुनाई आ रही थी, जो अपने बिस्तर पर नंगी लेटी हुई अपने भाई और भाभी की सुहागरात की आवाज़ें सुनकर पागल हो रही थी।
उसकी साँसें भी तेज़ हो रही थी और उसके हाथ उसकी चूत को मसल रहे थे और उसके मन की आँखों के सामने उसके भैया का लंड उसकी भाभी की चूत में घुस रहा था और वो बेचारी अपनी उंगली से ही अपने आपको चोद रही थी, उसने पहले एक, फिर दो और फिर तीन उंगलियाँ चूत में डाल दी थी। मोहित का अधिक देर तक रुक पाना संभव नहीं था, क्योंकि मधु भी चूतड़ धकेल-धकेल कर चुदाई का आनंद ले रही थी। फिर उसने अपना एक हाथ पीछे ले जाकर अपने पति के अंडकोष पकड़ लिए और मसल दिए, अहह मधु में झड़ रहा हूँ, ऊऊहह बहनचोद मेरा लंड झड़ रहा है, मेरी रानी में जा रहा हूँ। उधर मधु की चूत भी पानी छोड़ रही थी और जब मोहित ने उसकी चूत पर हाथ फेरा और उसका होल रग़ड दिया तो वो कराह उठी। क्योंकि चूत से रस का फव्वारा छूट पड़ा, आह्ह्ह्ह में गयी, में झड़ी, आआहह मोहित में झड़ी, अब मोहित का लंड पानी छोड़ रहा था तो उसने लंड चूत से बाहर निकाला और मुठ मारने लगा और उसके लंड रस की धारा सीधी मधु के मुँह पर और पेट पर जा गिरी और चूत रस मधु की चूत से होता हुआ पलंग की चादर पर जमा हो गया। फिर ज़बरदस्त चुदाई के बाद वो दोनों एक दूसरे की बाहों में सो गये।
फिर सुबह 6 बजे मधु की नींद खुली तो उसने अपने आपको मोहित की बाहों में नंगा पाया और वो मुस्कुरा पड़ी। मधु की जाँघ मोहित की कमर के ऊपर थी और मोहित का लंड उसकी जाँघ पर ढीला सा सोया पड़ा था और वो ही लंड जिसने मधु की चूत का दम निकाल दिया था, वो ही अब सुस्त पड़ा हुआ था। रात की चुदाई की याद ने उसको फिर से चुदासी कर दिया और उसका हाथ अपने आप पति के लंड पर चला गया और मधु के स्पर्श से लंड महाराज ने क़िसी नाग देवता की तरह सर उठाया और चुदासी पत्नी ने नाग देवता को हाथ में थाम लिया और वो उसको सहलाने लगी और सोचने लगी कि ना जाने लंड महाराज आज क्या दिखाने वाले है?
फिर मधु ने झुककर लंड को चूम लिया और झांटो से घिरे अंडकोष पर हाथ फेरने लगी, अब उसकी चूत रानी भी मस्त हो उठी और लंड महाराज को अंदर लेने के लिए तड़प उठी। फिर दो तीन बार जब उसने लंड को चूसा तो मोहित की आँख खुल गयी। फिर अपनी पत्नी को लंड की चुसाई करते हुए देखकर मोहित बहुत खुश हुआ और उसको ऐसी ही पत्नी की उम्मीद थी, जिसको हर वक्त लंड की भूख रहती हो। फिर मोहित ने उसकी चूची को पकड़ लिया और गांड पर हाथ फेरा। फिर मधु शरमाती हुई मोहित से लिपट गयी और उसके लंड से खेलने लगी।
फिर मोहित ने इस बार मधु को अपने लंड पर बैठा दिया और बोला कि रानी आज सुबह की शुरुवात तुम लंड की सवारी से करो, एक औरत की सबसे आनंदमय सवारी लंड की होती है और जब तुम मेरा लंड चूत में लेकर उछलोगी तो तुझे जन्नत का मज़ा मिलेगा। फिर मोहित अपनी पत्नी की चूची को प्यार से मसलने लगा और अब चुदासी मधु भी मजे लेती हुई मोहित के ऊपर चढ़ गयी और चूत को खड़े लंड पर रगड़ने लगी। उसकी चूत तो पहले ही पानी छोड़ रही थी। फिर जब वो अपने पतिदेव को तड़पाती रही तो मोहित ने उसके चूतड़ जकड़ कर उसको अपने लंड पर खींच लिया और चुदासी चूत एक पल में ही सारा लंड खा गयी, आआअहह मोहित धीरे से चोदो, बहुत मज़ा आ रहा है, मुझे नहीं पता था कि चुदाई में इतना आनंद मिलता है, पेल डालो अपना लंड मेरी चूत में, ऊऊऊहह में मर गयी, चोदो मुझे मेरे स्वामी। फिर मोहित ने मधु को अपनी तरफ खींचकर उसकी चूची को मुँह में ले लिया और चूसने लगा।
फिर मधु और भी ऊँची आवाज़ में सिसकियाँ भरने लगी, क्योंकि अब मोहित का लंड उसके गर्भाश्य से टकरा रहा था। अब मधु अपनी गांड उछाल-उछाल कर चुदाई करने लगी थी और अब मोहित की ज़बान जब उसकी चूची को चूसती तो वो पागलों की तरह हाँफने लगी और बड़बडाने लगी। फिर मोहित ने ज़ोर से उसकी गांड पर तमाचा मार दिया और बोला कि इतना शोर क्यों मचा रही हो रानी? आवाज़ कम करो, कहीं शीतल ना सुन ले और मेरी बहन क्या सोचेगी? मधु की सिसकियाँ जारी रही और वो बोली कि राजा चोद डालो मुझे, शीतल क्या सोचेगी? वो सोचेगी कि उसका भाई उसकी भाभी को जन्नत दिखा रहा है और आपकी बहन भी तो जवान है, उसको भी तो लंड की ज़रूरत है और वो भी लंड के सपने ले रही होगी। अब तो शीतल के लिए भी लंड का इंतजाम करना होगा।
फिर मोहित को अपनी बहन की बात सुनकर अजीब लग रहा था, लेकिन उस वक्त उसका लंड अपनी पत्नी की चूत में घुसकर उसको मज़े दे रहा था और वो मस्त चुदाई कर रहा था। अब मधु कुत्तिया की तरह हाँफ रही थी, जब मोहित का हाथ उसके चूत के दाने पर लगा तो उसका पानी निकलने लगा और मधु बोली कि मोहित चोद मुझे, भर दे मेरी कोख, बना दे मुझे माँ, चोद मुझे, में झड़ रही हूँ, उईईइ माँ में मर गयी और मोहित का पानी भी निकल गया और लंड ने पिचकारी चूत में मार दी और कुछ रस चूत से बाहर निकलकर मधु की जांघों पर चला गया। जब चुदाई चरम सीमा पर चल रही थी तो शीतल मधु की सिसकियाँ सुनकर उठ गयी और उसने सोचा कि भैया सुबह की पारी शुरू कर चुके है, काश मुझे भी कोई चोदने वाला होता तो मुझे भी चुदाई का मजा मिलता ।।
धन्यवाद …
भाभी और भाई बहन का प्यार भाग २
No comments:
Post a Comment